राजस्थान सरकार ने हाल ही में एक ऐसी योजना शुरू की है, जो खासकर मध्यम वर्ग और गरीब परिवारों के लिए बहुत राहत देने वाली है। इस योजना के तहत अब हर महीने 200 यूनिट तक बिजली मुफ्त दी जाएगी। यह खबर सुनकर बहुत से लोगों के चेहरे पर खुशी जरूर आई होगी, क्योंकि महंगाई के इस दौर में बिजली का बिल भी घर के बजट को बिगाड़ देता है।
आजकल हर घर में बिजली की जरूरत बढ़ती जा रही है। पंखा, कूलर, बल्ब, टीवी, फ्रिज जैसे सामान हर समय चलते हैं। ऐसे में बिजली का बिल हर महीने एक बड़ी टेंशन बन जाता है। लेकिन अब राजस्थान सरकार की इस नई योजना से आम लोगों को बहुत बड़ी राहत मिलने वाली है।
इस योजना की शुरुआत क्यों की गई?
राजस्थान के मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत जी ने इस योजना की शुरुआत की है। पहले सिर्फ 100 यूनिट बिजली ही मुफ्त दी जा रही थी, लेकिन अब इसे बढ़ाकर 200 यूनिट कर दिया गया है। इसका मतलब यह हुआ कि अगर कोई परिवार हर महीने 200 यूनिट तक बिजली का उपयोग करता है, तो उसे बिजली का बिल नहीं भरना पड़ेगा।
सरकार का कहना है कि इससे आम जनता को महंगाई से थोड़ी राहत मिलेगी। कई घरों में लोगों की कमाई सीमित होती है। ऐसे में बिजली का बिल न भरने से कुछ पैसे बचेंगे, जो वे दूसरी जरूरी चीजों में खर्च कर सकेंगे।
कौन ले सकता है इस योजना का फायदा?
इस योजना का फायदा वही लोग ले सकते हैं, जो राजस्थान के रहने वाले हैं और जिनके घरों में बिजली का मीटर घरेलू उपयोग के लिए है। इसके अलावा सरकार की ओर से यह भी बताया गया है कि लोगों को किसी खास प्रक्रिया से गुजरना होगा, जिससे वे इस योजना का लाभ ले सकें।
राज्य सरकार के महंगाई राहत कैंप में जाकर लोगों को रजिस्ट्रेशन कराना होगा। रजिस्ट्रेशन के बाद ही उन्हें 200 यूनिट तक बिजली मुफ्त मिलेगी। जिन लोगों ने पहले ही कैंप में पंजीकरण करा लिया है, उन्हें फिर से करने की जरूरत नहीं है।
योजना के कुछ खास फायदे
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हर महीने बचत: 200 यूनिट तक बिजली मुफ्त मिलने से हर महीने करीब 800 से 1000 रुपये तक की बचत हो सकती है। यह खासतौर पर उन परिवारों के लिए राहत है, जिनकी आमदनी कम है।
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घरेलू खर्चों में मदद: जो पैसे पहले बिजली के बिल में जाते थे, अब वे खाने-पीने, बच्चों की पढ़ाई, या दवाई जैसी चीजों पर खर्च किए जा सकते हैं।
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सरल प्रक्रिया: इस योजना का लाभ लेने के लिए कोई लंबा-चौड़ा फॉर्म भरने की जरूरत नहीं है। सिर्फ महंगाई राहत कैंप में जाकर आधार कार्ड और बिजली बिल की कॉपी के साथ रजिस्ट्रेशन कराना होता है।
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कोई छुपा खर्च नहीं: इस योजना में सरकार खुद ही स्थायी शुल्क (fixed charge), फ्यूल सरचार्ज और दूसरे छोटे-बड़े चार्ज खुद भर रही है। यानी उपभोक्ता को कोई पैसा नहीं देना पड़ेगा।
एक आम परिवार की कहानी
जयपुर के रहने वाले रामलाल जी एक प्राइवेट नौकरी करते हैं। उनकी आमदनी ज्यादा नहीं है, और घर में 5 लोग हैं। हर महीने उनका बिजली बिल करीब 900 रुपये आता था। जब उन्होंने महंगाई राहत कैंप में जाकर इस योजना के लिए रजिस्ट्रेशन कराया, तब से उनका बिजली बिल जीरो आ रहा है। उन्होंने बताया कि अब वे हर महीने बिजली का पैसा बच्चों की पढ़ाई पर खर्च कर रहे हैं।
सरकार का अगला कदम: सौर ऊर्जा की तरफ बढ़ते कदम
राज्य सरकार अब सिर्फ मुफ्त बिजली देने तक ही सीमित नहीं रहना चाहती। उनका अगला लक्ष्य है कि ज्यादा से ज्यादा लोग सौर ऊर्जा का उपयोग करें। इसके लिए राजस्थान में कई सोलर प्लांट लगाए जा रहे हैं।
सरकार चाहती है कि आने वाले सालों में राज्य की 50% बिजली जरूरत सौर ऊर्जा से पूरी की जाए। इससे पर्यावरण को भी फायदा होगा और बिजली की कीमतें भी कम होंगी।
योजना से जुड़ी कुछ जरूरी बातें
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अगर आप हर महीने 200 यूनिट से कम बिजली का उपयोग करते हैं, तो यह योजना आपके लिए बिल्कुल मुफ़्त है।
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जिन उपभोक्ताओं की खपत 200 यूनिट से थोड़ी ज़्यादा है, वे भी आंशिक रूप से लाभ ले सकते हैं।
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यह योजना सिर्फ घरेलू उपभोक्ताओं के लिए है, व्यावसायिक मीटर वाले लोग इसका लाभ नहीं उठा सकते।
यह योजना क्यों है खास?
इस योजना की सबसे बड़ी खासियत यह है कि यह सीधा-सीधा आम जनता को राहत देती है। यह योजना न तो किसी तकनीकी जानकारी पर आधारित है, न ही इसके लिए किसी बड़े दस्तावेज़ की जरूरत होती है। हर कोई जिसे बिजली की जरूरत है और जिसका उपयोग सीमित है, वह इसका लाभ ले सकता है।
इसके अलावा, यह पहल समाज के उन वर्गों को सशक्त बनाती है जो पहले महंगाई की वजह से परेशान थे। जब सरकार सीधे आम आदमी को आर्थिक राहत देती है, तो उसका असर न केवल उस व्यक्ति पर, बल्कि पूरे समाज पर पड़ता है।